G7 Summit 2024 : भारत को आउटरीच देश के रूप में जी7 शिखर सम्मेलन में आमंत्रित किया गया है. समिट में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी रक्षा और समुद्री सहयोग के मुद्दे पर अपना पक्ष रख सकते हैं.
13 June, 2024
G7 Summit: इटली में आयोजित G7 शिखर सम्मेलन में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) भी हिस्सा लेंगे. इस दौरान अपने संबोधन में पीएम मोदी कई अहम मुद्दों पर भारत का पक्ष रखेंगे. सम्मेलन का आयोजन ऐसे समय में हो रहा है जब वैश्विक स्तर पर कई समस्याएं दुनियाभर को प्रभावित कर रही हैं. इनमें गजा और इजराइल के बीच जंग और यूक्रेन और रूस के मध्य जारी युद्ध शामिल है.
क्या है Group 7 (G7)
अमेरिका और उसके सहयोगी देशों ने 1970 के दशक में वैश्विक आर्थिक संकट के समाधान के लिए G7 की शुरुआत की थी. G7 का मकसद लंबे समय तक प्रभावित करने वाले वित्तीय संकट के साथ-साथ विशेष चुनौतियों पर चर्चा करना और उनका समाधान ढूंढना है. G7 में अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान और कनाडा शामिल हैं. यही वजह है कि इसे G7 का नाम दिया गया है. कनाडा 1976 और यूरोपीय संघ 1977 में G7 से जुड़ा. वर्ष 1998 में रूस के इस समूह में शामिल होने के बाद कई वर्षों तक G7 को G8 का नाम दे दिया गया यानी इसे G8 के रूप में जाना जाने लगा. लेकिन रूस को वर्ष 2014 में क्रीमिया विवाद के बाद G7 से निष्कासित कर दिया गया और एक बार फिर इस ग्रुप को G7 कहा जाने लगा. आपको यह जानकर हैरत होगी कि G7 के सातों देशों की अर्थव्यवस्था 45 ट्रिलियन डॉलर से अधिक है. 45 ट्रिलियन डॉलर यानी 3 हजार 761 लाख करोड़ रुपये, जो विश्व की जीडीपी की 43 प्रतिशत हिस्सेदारी है.
भारत समेत कई हैं मेहमान देश
मौजूदा G7 शिखर सम्मेलन का आयोजन इटली के बोर्गो एग्नाजिया रिसॉर्ट अपूलिया में हो रहा है. दक्षिणी इटली में मौजूद यह स्थान पर्यटकों के बीच खासा लोकप्रिय है. इस वर्ष G7 सम्मेलन में भारत के साथ-साथ दक्षिण अफ्रीका, ट्यूनीशिया, तुर्किए और संयुक्त अरब अमीरात के अलावा अल्जीरिया, अर्जेंटीना, ब्राजील, मिस्र, केन्या और सऊदी अरब भी इस समिट में विशेष प्रतिनिधी के तौर पर भाग ले रहे हैं.
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