Noel Tata: रतन टाटा के निधन के बाद अब नोएल टाटा ‘टाटा ट्रस्ट’ के चेयरमैन बनेंगे. आइए जानते हैं आखिर कौन हैं नोएल टाटा.
11 October, 2024
Noel Tata: उद्योगपति रतन टाटा के निधन के बाद अब उनके सौतेले भाई नोएल टाटा ‘टाटा ट्रस्ट’ के चेयरमैन बनेंगे. वो चार दशक से ज्यादा समय से टाटा ग्रुप से जुड़े हुए हैं. नोएल टाटा नमक से लेकर सॉफ्टवेयर तक का बिजनेस करने वाले टाटा ग्रुप में धीरे-धीरे अपना कद बढ़ाते रहे हैं. रतन टाटा की छत्रछाया में काम करने के बाद अब नोएल (67) को ‘टाटा ट्रस्ट’ की अगुवाई करने की जिम्मेदारी मिलने जा रही है. इसमें सर दोराबजी टाटा ट्रस्ट एंड अलाइड ट्रस्ट और सर रतन टाटा ट्रस्ट एंड अलाइड ट्रस्ट मोटे तौर पर शामिल हैं, जिनके पास टाटा संस की नियंत्रक हिस्सेदारी 66 प्रतिशत है. टाटा संस, टाटा ग्रुप की कंपनियों की होल्डिंग और प्रवर्तक कंपनी है. नोएल, सर रतन टाटा ट्रस्ट और सर दोराबजी टाटा ट्रस्ट के डायरेक्टर मंडल में न्यासी (ट्रस्टी) हैं.
चेयरमैन पद के लिए नोएल टाटा को चुना
रतन टाटा (86) का 09 अक्टूबर, बुधवार की रात आयु से जुड़ी हेल्थ समस्याओं के चलते निधन हो गया था. इसके बाद से ही ‘टाटा ट्रस्ट’ के चेयरमैन के पद के लिए उनके उत्तराधिकारी के तौर पर नोएल टाटा को चुना गया. नवल एच. टाटा और सिमोन एन. टाटा के पुत्र नोएल टाटा वर्तमान में टाटा ग्रुप की कई कंपनियों के डायरेक्टर मंडल का हिस्सा हैं. नोएल टाटा ट्रेंट, वोल्टास टाटा इंटरनेशनल लिमिटेड और टाटा इन्वेस्टमेंट कॉरपोरेशन के चेयरमैन और साथ ही टाइटन कंपनी लिमिटेड और टाटा स्टील के वाइस चेयरमैन भी हैं.
आखिरी बार कब संभाला था कार्यकारी पद
नोएल टाटा 40 साल से अधिक समय से Tata Group से जुड़े हुए हैं. नोएल टाटा ने अगस्त, 2010 और नवंबर, 2021 के बीच टाटा ग्रुप की व्यापार और वितरण इकाई टाटा इंटरनेशनल लिमिटेड के प्रबंध निदेशक के रूप में आखिरी बार कोई कार्यकारी पद संभाला था. इस दौरान उन्होंने कंपनी के बिजनेस को 50 करोड़ अमेरिकी डॉलर से 3 अरब डॉलर से अधिक तक पहुंचाया था.
ट्रेंट की बढ़ोत्तरी में प्रमुख रोल प्ले किया
नोएल, टाटा इंटरनेशनल में अपने कार्यकाल से पहले टाटा ग्रुप की खुदरा इकाई ट्रेंट लिमिटेड के प्रबंध डायरेक्टर के रूप में कार्यरत थे. उन्होंने 1998 में एक स्टोर से लेकर विभिन्न फॉर्मेट वाले 700 से अधिक स्टोर तक ट्रेंट की बढ़ोत्तरी में प्रमुख रोल प्ले किया. नोएल टाटा ससेक्स विश्वविद्यालय (ब्रिटेन) से ग्रेजुएशन पूरी करने के बाद इनसीड से अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी कार्यक्रम (IEEP) की पढ़ाई पूरी की.
यह भी पढ़ें: देश के अनमोल रतन थे उद्योगपति Ratan Naval Tata, जानिये लोग क्यों कहते थे ‘जिंदा संत’