Home Education ‘देश में बढ़ते ‘कोचिंग सेंटर’ के लिए योजना बनाने की जरूरत, कांग्रेस बोलीं- शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार होना चाहिए

‘देश में बढ़ते ‘कोचिंग सेंटर’ के लिए योजना बनाने की जरूरत, कांग्रेस बोलीं- शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार होना चाहिए

by Sachin Kumar
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देश में बढ़ते कोचिंग सेंटर के लिए योजना बनाने की जरूरत, कांग्रेस बोलीं, शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार होना चाहिए

Coaching Centre Controversy : देश में कोचिंग संस्थानों की बढ़ती संख्या को लेकर कांग्रेस ने कहा कि इसके लिए एक व्यापक नीति बनाने की जरूरत है, जहां स्कूली पाठ्यक्रमों को कोचिंग सेंटर में पढ़ाया जाए.

03 August, 2024

Coaching Centre Controversy : ओल्ड राजेंद्र नगर में Rau’s IAS Coaching Centre के बेसमेंट में मौजूद लाइब्रेरी में तीन स्टूडेंट की मौत होने के बाद मामला शांत होता नहीं नजर रहा है. कांग्रेस ने शनिवार को कहा कि देश में कोचिंग संस्थानों की बढ़ती संख्या के लिए एक व्यापक नीति बनाने की जरूरत है. साथ ही सिलेबस में संशोधन, परीक्षार्थियों के लिए अधिक संसाधन और शिक्षा की गुणवत्ता में निवेश का आह्वान किया है. कांग्रेस महासचिव (संचार प्रभारी) जयराम रमेश (Jairam Ramesh) ने कहा कि राज्यसभा में हायर एजुकेशन डिपार्टमेंट ने जो आंकड़े उपलब्ध कराए हैं उनसे पता चलता है कि पिछले 5 वर्षों में कोचिंग सेंटर से GST कलेक्शन कई गुना बढ़ा है.

‘कोचिंग सेंटरों का किया गया बाजारीकरण’

जयराम रमेश ने कहा कि कोचिंग सेंटरों से मिला वस्तु एवं सेवा कर (GST) 146 प्रतिशत बढ़ा है. इसमें से कुछ हिस्सा कोचिंग सेंटरों को बेहतर बनाने के लिए किया जाना चाहिए था, लेकिन कोचिंग को सिर्फ बाजार के नजरिए से देखा गया. कांग्रेस नेता ने सोशल मीडिया ‘X’ पर लिखा कि कोचिंग सेंटर सालाना 30,653 करोड़ रुपये का बाजार बन गया है. उन्होंने आगे कहा कि यह चिंताजनक आंकड़ा है, क्योंकि वित्त वर्ष 2024 में उच्च शिक्षा के लिए केंद्रीय बजट का लगभग दो-तिहाई हिस्सा है.

पाठ्यक्रमों में बड़े बदलाव की जरूरत

कांग्रेस नेता ने कहा कि GST के आंकड़े कोचिंग संस्थानों के बाजार को कम आंक रहे हैं, जो अपने खराब रेगुलेशन के लिए जाने जाते हैं. उन्होंने कहा कि भारत में कोचिंग संस्थानों की बढ़ती संख्या के लिए एक व्यापक नीति की जरूरत है. पार्टी ने कहा कि पाठ्यक्रमों में बदलाव करना चाहिए और उन्हें स्कूली सिलेबस के अनुरूप तैयार किया जाना चाहिए. एक सवाल के जवाब में शिक्षा राज्य मंत्री सुकांत मजूमदार (Minister of State Education Sukanta Majumdar) ने कहा कि विनियमन के अभाव में देश में अनियमित निजी कोचिंग केंद्रों की संख्या में वृद्धि को ध्यान में रखते हुए मंत्रालय ने उचित कानूनी ढांचे के माध्यम से विचार करने के लिए 16 जनवरी को राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के बीच कोचिंग सेंटर के नियमन के लिए दिशा-निर्देश प्रसारित किए हैं.

यह भी पढ़ें- NEET से जुड़ी याचिकाओं पर SC में हुई सुनवाई, कोर्ट ने कहा- सिर्फ दो सेंटर्स पर हुई थी गड़बड़ी

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