Bangladesh Violence: बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना (Sheikh Hasina) की बेटी साइमा वाजिद (Saima Wazed) ने सुबह अपने ‘X’ हैंडल पर पोस्ट कर लिखा कि मैं प्यार अपने मुल्क बांग्लादेश से प्यार करती हूं.
08 August, 2024
Bangladesh Violence: बांग्लादेश में प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा देने के बाद अपना देश छोड़कर भारत आई शेख हसीना (Sheikh Hasina) पिछले चार दिन से गाजियाबाद स्थित भारतीय वायुसेना के हिंडन एयरबेस के सेफ हाउस में मौजूद हैं. वहीं उनसे सिर्फ 25 किलोमीटर दूर दिल्ली में मौजूद उनकी बेटी का दर्द छलक गया है. पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की बेटी साइमा वाजिद ने कहा कि मैं इस कठिन समय में अपनी मां को देख नहीं सकती हूं. उनसे मिलकर उन्हें गले भी नहीं लगा सकती.
WHO में काम करती हैं साइमा
बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की बेटी साइमा वाजिद (Saima Wazed) ने गुरुवार की सुबह अपने ‘X’ हैंडल पर एक पोस्ट कर लिखा कि मैं प्यार अपने मुल्क बांग्लादेश से प्यार करती हूं. बांग्लादेश में हुई लोगों की मौत और हिंसा के बाद मेरा दिल टूट गया है. उन्होंने इस हालात को दुखद बताते हुए कहा कि मैं इस कठिन हालातों में अपनी मां (शेख हसीना) को देख भी नहीं सकती. मैं उनको गले भी नहीं लगा सकती हूं. मैं WHO (World Health Organization) के रीजनल डायरेक्टर रूप में अपनी भूमिका के प्रति प्रतिबद्ध हूं. बता दें कि साइमा वाजिद इस वक्त दिल्ली में मौजूद हैं. वह WHO के साउथ-ईस्ट एशिया की रीजनल डायरेक्टर के पद पर कार्यरत हैं. वहीं WHO के साउथ-ईस्ट एशिया रीजन का मुख्यायल भारत की राजधानी दिल्ली में स्थित है. हिंडन एयरबेस और WHO के साउथ-ईस्ट एशिया रीजन मुख्यालय के बीच की दूरी सिर्फ 25 किलोमीटर ही है. इसके बावजूद साइमा वाजिद अपनी मां शेख हसीना से नहीं मिल पा रही हैं.
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कई अधिकारी भी लौटे भारत
बता दें कि 5 अगस्त को बांग्लादेश में सरकारी नौकरियों में आरक्षण के खिलाफ छात्रों और विपक्षी दलों के आंदोलन के कारण शेख हसीना को प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा. बांग्लादेश सरकार में सुरक्षा से जुड़े अधिकारियों और नेताओं से बात करने के बाद शेख हसीना ने इस्तीफा देने का फैसला किया और अपनी जान बचाने के लिए उन्होंने भारत से मदद मांगी. इसके बाद से भारत सरकार से बांग्लादेशी अधिकारियों ने उड़ान की मंजूरी के लिए आग्रह किया. फिर शेख हसीना 5 अगस्त को ही दिल्ली पहुंची. इसके बाद से बांग्लादेश में स्थिति और खराब हो गई. 6 अगस्त को सदन में जवाब देते हुए डॉ. एस जयशंकर ने बताया कि हिंदू अल्पसंख्यकों, उनके व्यवसायों और मंदिरों पर भी बड़े हमले किए गए. वहीं दूसरी ओर भारत-बांग्लादेश सीमा पर सुरक्षा बलों को भी इस जटिल स्थिति को देखते हुए विशेष रूप से सतर्क और अलर्ट पर रहने के निर्देश दिए गए हैं. कई अधिकारी भी लौट आए हैं.
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