Hathras Stampede: उत्तर प्रदेश के हाथरस में सत्संग के दौरान हुए भीषण हादसे के एक चश्मदीद ने वह वाकया बताया, जिसकी वजह से कार्यक्रम में भगदड़ मची.
03 June, 2024
Hathras Stampede: उत्तर प्रदेश के हाथरस में हुए सत्संग भगदड़ हादसे के बाद पीड़ित परिवारों में मातम का माहौल है. इस दर्दनाक हादसे में अब तक 121 लोगों की जान जा चुकी है. इस बीच हाथरस हादसे के एक चश्मदीद ने बताया कि लोग उस मिट्टी को इकट्ठा करने के लिए हाथापाई कर रहे थे, जिस पर ‘बाबा’ चले थे. इसी दौरान भगदड़ मच गई और इतना बड़ा हादसा हो गया.
मिट्टी लेने के चक्कर में हुआ हादसा
यूपी के फिरोजबाद के रहने वाले देवेंद्र यादव का कहना है कि बाबा के चले जाने के बाद लोग उस मिट्टी (धूल) को उठाने लिए टूट पड़ा जहां से वह गुजरे थे. दरअसल, सत्संग खत्म होने के बाद श्रद्धालुओं के बीच उस मिट्टी को लेने के लिए होड़ मच गई, जिस पर बाबा चले थे. ऐसी मान्यता है कि उस मिट्टी से उनका भला होगा और उसमें भगवान हैं. देवेंद्र की मानें तो बाबा के कदमों की मिट्टी लेने के चक्कर में लोग एक-दूसरे के ऊपर चढ़ते चले गए. इसके बाद इतना बड़ा हादसा हो गया और बड़ी संख्या में लोगों की जान चली गई.
जान गंवाने वालों में अधिकतर महिलाएं
यहां पर बता दें कि हाथरस में सत्संग में हुई भगदड़ के चलते 121 लोगों की जान चली गई. जान गंवाने वालों में ज्यादातर महिलाएं थीं. भगदड़ के दौरान अधिकतर श्रद्धालुओं की दम घुटने से मौत हुई. हादसे की शव एक-दूसरे के ऊपर ढेर हो गए. बता दें कि हाथरस जिले के फुलराई गांव में बाबा नारायण हरि के सत्संग में मंगलवार को करीब ढाई लाख लोग जुटे थे. बाबा नारायण हरि को साकार विश्वहरि भोले बाबा के नाम से भी जाना जाता है.
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