Independence Day 2024: देश में स्वतंत्रता दिवस के मौके पर उत्तर भारत में पतंग उड़ाकर आजादी का जश्न मनाया जाता है. लेकिन एक सवाल हमेशा लोगों के मन में रहता है कि इसकी परंपरा कहां से शुरू हुई और क्यों?
11 August, 2024
Independence Day 2024: 15 अगस्त 1947 को आजादी मिलने के बाद देश में इस दिन को हम हर साल हर्षोल्लास के साथ मनाते हैं. इस साल देशवासी 78वां स्वतंत्रता दिवस मनाएंगे. इस मौके पर एक तरफ जहां देशभक्ति गानों से देश गूंज रहा होता है तो वहीं, दूसरी तरफ आसमान में रंगबिरंगी पतंगें आसमान में उड़ती नजर आती हैं. इसलिए हम आपको बताने जा रहे हैं कि इस दिन पतंग क्यों उड़ाई जाती है और इसका क्या महत्व है?
क्यों उड़ाई जाती है स्वतंत्रता दिवस पर पतंग?
स्वतंत्रता दिवस के खास मौके पर पतंग उड़ाना उत्तर भारत की वर्षों की परंपरा है, जो दिल्ली, लखनऊ, मुरादाबाद और बरेली में काफी प्रचलित है. दरअसल, मामला यह है कि साल 1927 में देशभर में साइमन कमीशन का विरोध किया जा रहा था और देशवासी ‘गो बैक साइमन’ के नारे लगाकर अपना विरोध दर्ज कर रहे थे. उस दौरान यह नारा इतना मशहूर हुआ कि आम लोग इस नारे को पतंग पर लिखकर उड़ा रहे थे. समय बीतने के साथ देश में यह अभिव्यक्ति की आजादी और औपनिवेशिक शासन के विरुद्ध जश्न मनाने का एक सिलसिला शुरू हो गया.
पतंग बना जश्न मनाने का प्रतीक
वहीं, साइमन कमीशन के विरोध के चलते उत्तर भारत यह एक नई परंपरा शुरू हो गई और देश की आजादी के बाद पतंग को स्वतंत्रता का प्रतीक रूप में प्रचलन शुरू हो गया. यह आज भी बड़ी खूबसूरती के साथ सेलेब्रेट किया जाता है. दिल्ली और लखनऊ समेत कई शहरों में पतंग प्रतियोगिता भी की जाती रही है और इसका लोग बेसब्री से इंतजार भी करते हैं. अगर हम इसके इतिहास में जाएं तो भारत में पतंग उड़ाने की परंपरा चीन से आई थी और चीनी यात्री Fa Hien और Hiuen Tsang देश में लेकर आए थे.