Home Latest मालेगांव विस्फोट मामले की सुनवाई कर रही थी कोर्ट, उसे ही मिली बम से उड़ाने की धमकी, जानें क्या हुआ आगे

मालेगांव विस्फोट मामले की सुनवाई कर रही थी कोर्ट, उसे ही मिली बम से उड़ाने की धमकी, जानें क्या हुआ आगे

by Divyansh Sharma
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Mumbai Court Bomb Threat Malegaon blast Case Maharashtra

Mumbai Court Bomb Threat: एक अज्ञात व्यक्ति ने 30 अक्टूबर को सत्र न्यायालय के रजिस्ट्रार के कार्यालय में फोन किया. उसने कहा कि उसने कोर्ट के 26 नंबर कमरे में बम लगाया है.

Mumbai Court Bomb Threat: मुंबई से बेहद चौंकाने वाली खबर सामने आ रही है. मालेगांव विस्फोट मामले की सुनवाई कर रही विशेष कोर्ट को लेकर एक ऐसी खबर सामने आ गई, जिससे पूरे कोर्ट रूम में हड़कंप मच गया.

दरअसल, साल 2008 के दौरान मालेगांव में हुए विस्फोट मामले की सुनवाई कर रही कोर्ट को ही बम से उड़ाने की धमकी दे दी गई.

Mumbai Court Bomb Threat: कोर्ट रूम नंबर 26 में हो रही थी सुनवाई

दरअसल, न्यूज एजेंसी PTI ने एक सरकारी वकील के हवाले से इस बात की जानकारी है. सरकारी वकील ने बताया कि एक अज्ञात व्यक्ति ने 30 अक्टूबर को सत्र न्यायालय के रजिस्ट्रार के कार्यालय में फोन किया.

फोन पर उसने कुछ ऐसा कहा, जिससे पूरे कोर्ट रूम में हड़कंप मच गया. दरअसल, अज्ञात व्यक्ति ने कहा कि उसने कोर्ट के 26 नंबर कमरे में बम लगाया है.

बता दें कि विस्फोट मामले की सुनवाई करने वाली NIA यानी राष्ट्रीय जांच एजेंसी की विशेष अदालत दक्षिण मुंबई स्थित सिविल और सत्र न्यायालय परिसर के कोर्ट रूम नंबर 26 में बैठती है और सुनवाई करती है.

ऐसे में 30 अक्टूबर को साल 2008 के दौरान मालेगांव में हुए विस्फोट मामले की सुनवाई चल रही थी. सरकारी वकील ने कहा है कि पूरे मामले की जानकारी कोलाबा पुलिस स्टेशन को दे दी गई है.

पुलिस ने फिलहाल मामला दर्ज नहीं किया है. पुलिस अभी पूरे मामले की पुष्टि कर रही है, जिसके बाद इस मामले में शिकायत दर्ज की जाएगी.

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29 सितंबर 2008 को हुआ था मालेगांव में विस्फोट

बता दें कि 29 सितंबर 2008 को मुंबई से लगभग 200 किलोमीटर दूर उत्तर महाराष्ट्र के मालेगांव शहर में विस्फोट हुआ था.

शहर में स्थित एक मस्जिद के पास मोटरसाइकिल पर बंधे विस्फोटक उपकरण में ब्लास्ट होने के बाद छह लोग मारे गए और करीब 100 से अधिक घायल हो गए थे.

इसी मामले में BJP नेता प्रज्ञा ठाकुर, लेफ्टिनेंट कर्नल प्रसाद पुरोहित और पांच अन्य पर विस्फोट की साजिश में कथित संलिप्तता को लेकर मुकदमा चल रहा है. बता दें कि इस मामले की सुनवाई अपने अंतिम चरण में है.

विशेष न्यायाधीश ए.के. लाहोटी की कोर्ट ने आरोपियों के अंतिम बयान दर्ज कर लिया है. गौरतलब है कि इस मामले की जांच शुरू में महाराष्ट्र की ATS यानी आतंकवाद निरोधक दस्ता की ओर से शुरू की गई थी. बाद में साल 2011 में इस जांच को NIA को सौंप दिया

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